हरिद्वार/ देहरादून। सावन के पहले दिन यानी 14 जुलाई से शुरू हुई को लेकर किये गए सारा दावे आज ध्वस्त होरते नजर आये। कांवड़ यात्रा में तरह दिन में ही उमड़े भक्तों के सैलाब ने पुलिस और प्रशासन के पसीने छुडा दिए। ऋषिकेश, हरिद्वार-दिल्ली हाईवे कांवड़ियों और उनके वाहनों से अटा पड़ा हुआ है। हर तरफ सिर्फ कावड़िये और उनके वहां ही नजर आ रहे थे।
गत दिवस यानी सोमवार को देहरादून से कुमाऊं और उत्तर प्रदेश को जाने वाली बसें नेपाली फार्म तक ही जा सकीं। इसकी मुख्य वजह थी कि कांवड़ यात्रा की वजह से गैस, सब्जी और सीएनजी की आपूर्ति लगभग ठप हो चुकी थी। दरअसल, यात्रा का अंतिम दिन होने के चलते सोमवार को कांवड़ियों की भारी भीड़ से गुरुकुल कांगड़ी विवि से लेकर ज्वालापुर तक, चार किलो मीटर का क्षेत्र पूरी तरह जाम हो गया।
बता दें कि हरिद्वार, ऋषिकेश मार्ग पर कांवड़ियों की भीड़ की वजह से सोमवार को देहरादून से हरिद्वार, कुमाऊं और यूपी के रूटों पर चलने वाली बसों का संचालन भी सुचारु रूप से नहीं हो पाया जबकि उत्तर प्रदेश की तरफ से आने वाली 25 फीसदी बसें ही देहरादून पहुंच सकीं। देहरादून से चली बसें नेपाली फार्म में यात्रियों को उतारकर वापस लौट आई। बता दें कि चौदह जुलाई से आरंभ हुई कावड़ यात्रा का मंगलवार यानी आज समाप्त हो जाएगी।
हरिद्वार से सीएनजी की सप्लाई न मिल पाने की वजह से देहरादून के तीनों सीएनजी पंपों पर सीएनजी गैस का संकट बना रहा। जीएम गेल मिनाक्षी त्रिपाठी कहना है कि आने वाले दो से तीन दिन के भीतर सप्लाई मिल जाएगी और फिर से पंपों पर सीएनजी मिलने लगेगी।